सिटी टुडे। कोरोना के नए वेरिएंट जे एन 1 ने आखिरकार ग्वालियर में भी पैर पसारने शुरू कर दिए है। जेएएच में दिनांक 28 दिसम्बर 23 को लिए गए चार सेम्पल की आज 29 दिसम्बर 23 को आई जांच रिपोर्ट में एक मरीज कोविड के नए वेरिएंट से संक्रमित निकला इसके बाद प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग में हड़कंप मच गया। देर शाम ही स्वास्थ्य विभाग ने इसको लेकर तैयारियों की समीक्षा की।
जबलपुर में बीते पखबाड़े कोविड के नए जे एन वेरिएंट का पहला पॉजिटिव केस सामने आया था इसके बाद पूरे प्रदेश में तैयारिया करने के निर्देश जारी किए गए थे इसके बाद भोपाल और इंदौर में भी इसके कुछ केस पीजिटिव मिले थे हालांकि ग्वालियर अब तक इस नए वेरिएंट के संक्रमण से बचा हुआ था लेकिन आज ग्वालियर में भी इसने दस्तक दे दी है।
जयारोग्य हॉस्पिटल के सूत्रों ने बताया कि कुछ मरीजों का शंका के आधार पर 29 दिसम्बर को जेएएच में कोविड के नए वेरिएंट की जांच के लिए एंटी पीसीआर टेस्ट करवाया गया था। आज इनकी रिपोर्ट आई इनमे से तीन सेम्पल तो निगेटिव आये लेकिन 58 साल एक व्यक्ति की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है इसके साथ ही स्वास्थ्य महकमे और प्रशांसन में हड़कंप मच गया। गजराराजा मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ अक्षय निगम ने इसकी पुष्टि की। उन्होंने कहा कि पीड़ित का इलाज जारी है और इस बीमारी को लेकर अस्पताल में व्यापक इंतजाम पहले से ही कर लिए गए हैं।
मेडिकल कॉलेज से जारी प्रेस नोट में बताया गया है कि दिनांक 29.12.2023 को गजराराजा मेडीकल कॉलेज में कुल 4 कोविड टेस्ट किये गए जिनमें से 1 मरीज पॉजीटिव आया है। आयु 58 वर्ष / मेल निवासी ब्लू लोटस हिल कालोनी सिरोल रोड ग्वालियर है। पमरीज से दूरभाष पर हुई चर्चा अनुसार वे 15 दिवस पहले वह बागेश्वर धाम छतरपुर गए थे। उन्हें वर्तमान में हलका सर्दी-जुखाम है, घर पर ही आईसोलेट हैं। उनकी हालत स्थिर है।
मरीज की जीनोम जिनोम सीक्वेंसिंग की जांच की जा रही है।
सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के चलते पीड़ित की पहचान उजागर नहीं कि जा सकती है अतः पीड़ित के नाम प्रकाशित नहीं किया जा सकता।
सरकारी रिकॉर्ड अनुसार प्रारंभ से आज दिनांक तक ग्वालियर की स्थिति
कुल पॉजीटिव केसिस 66298
कुल डेथ केसिस – 739
कुल डिस्चार्ज केसिस 65558
कुल एक्टिव केस – 01
लक्षण और उपाय
कोविड जेएन.1 के लक्षण क्या हैं? बताया जा रहा है कि JN.1 के ज्यादातर मामले बहुत हल्के रहे हैं। इसके लक्षण हैं बुखार, खांसी, नाक बहना, गले में खराश, शरीर में दर्द और थकान आदि शामिल हैं। ये लक्षण फ्लू जैसी अन्य श्वसन संबंधी बीमारियों से अलग नहीं हैं। इन लक्षणों के साथ अगर सांस फूलने की समस्या हो रही है, तो आपको सतर्क हो जाना चाहिए।
फ्लू के लक्षणों को कम करने के लिए आप कई घरेलू उपाय आजमा सकते हैं। कई प्रकार के वायरस से आपको फ्लू हो सकता है। इस नए वेरिएंट के लक्षण फ्लू से मिलते-जुलते हैं इसलिए अप लक्षणों को कम करने और वायरस को फैलने से रोकने के लिए कोरोना से जुड़े नियमों का पालन करने सहित नीचे बताए उपाय आजमा सकते हैं।
श्वसन फ्लू हो या पेट का फ्लू आपको पानी और अन्य तरल पदार्थों का खूब सेवन करना चाहिए। पानी आपकी नाक, मुंह और गले को नम रखने में मदद करता है। यह आपके शरीर को जमा हुए म्यूकस और कफ से छुटकारा दिलाने में मदद करता है। यदि आप सामान्य रूप से खा-पी नहीं रहे हैं तो भी आपको डिहाइड्रेशन की समस्या हो सकती है।
फ्लू होने पर आराम करना और अधिक नींद लेना जरूरी है। नींद से आपके इम्यून सिस्टम को बढ़ावा देने और शरीर को फ्लू वायरस से लड़ने में मदद मिलती है। अगर आपको लक्षण हैं, तो आराम करें और नींद लेने की कोशिश करें।
फ्लू के लक्षणों से लड़ने के लिए शरीर में जिंक की कमी न होने दें। अपने खाने में जिंक से भरपूर खाद्य पदार्थों को शामिल करें। जिंक से भरपूर खाद्य पदार्थों में लाल मांस, मसूर की दाल, चने, बीन्स, नट्स, सीड्स, डेयरी उत्पाद और अंडे शामिल हैं।
गर्म पानी और नमक से कुल्ला करने से गले की खराश को शांत किया जा सकता है। गरारे करने से बलगम को साफ करने में भी मदद मिल सकती है। इससे सर्दी और बुखार के लक्षणों भी कम किया जा सकता है।
कई जड़ी-बूटियों में नैचुरल एंटीवायरल और एंटी बैक्टीरियल गुण होते हैं। चक्र फूल एक ऐसा मसाला है जिसमें ओसेल्टामिविर फॉस्फेट तत्व होता है, जो फ्लू से राहत दे सकता है। हर्बल टी में एंटी बैक्टीरियल और एंटीऑक्सीडेंट गुण होते हैं। इसके लिए आप हरी या काली चाय, हल्दी, ताजा या सूखा अदरक, ताजा लहसुन और लौंग की चाय पी सकते हैं।
पानी के गर्म बर्तन से भाप लेने से आपकी नाक, साइनस, गले और फेफड़ों को आराम देने में मदद मिल सकती है। भाप लेने से गले और छाती में चिपके कफ को ढीला करने में मदद मिल सकती है। इससे नाक और फेफड़ों में सूजन से भी राहत दिला सकती है। भाप लेने से सूखी खांसी, नाक में जलन और सीने में जकड़न से राहत मिल सकती है।