मध्य प्रदेश में बीना को जिला बनाने की मांग 1965 से चली आ रही है तब वहां बीना उतना विकसित भी नहीं था इसी तर्ज पर खुरई को भी जिला बनाने की मांग तभी से चल रही है।
मध्य प्रदेश में सागर संभाग में पांच जिले होने के साथ ही सागर जिले की कुल 12 तहसील है उनमें प्रदेश के अंदर सर्वाधिक उन्नत खुरई तथा बीना तहसील भी मुख्य रूप से है सागर जिले के जो 10 बड़े गांव हैं उनमें बसहरि व गुड़ल जागीर खुरई के अंतर्गत आता है स्थानीय लोग व नेता खुरई को जिले मांग पर अड़े हुए हैं पूर्व मंत्री तथा विधायक भूपेंद्र सिंह भी खुरई को जिला बनाने के लिए प्रयासरत है बीना को जिला बनाए जाने के प्रति उनकी नाराजगी जगजाहीर है। बीना तहसील में सागर जिले का सबसे बड़ा गांव आगसोद है वहां रेलवे स्टेशन भी है जो जिले के विकास के साथ औद्योगिक क्षेत्र की कड़ी है।
बीना की कांग्रेस विधायक निर्मला सप्रे ने कांग्रेस इसी शर्त छोड कर भाजपा में शामिल हुई थी के बीना को जिला बनाया जाए भौगोलिक तथा सुविधाओं को दृष्टिगत रखते हुए वर्तमान परिस्थितियों में बीना को ही जिला बनाया जाना वाजिब है।
बीना मुख्य रेल मार्ग से जुडा होने के साथ यहां बीपीसीएल रिफायनरी, जेपी पावर थर्मल प्लांट,जे पी ग्रिड होने के अलावा जल्दी ही 49000 करोड रुपए की लागत से पेट्रोल केमिकल प्लांट का काम शुरू होने वाला है।
बिना को जिला बनाये जाने के लिए पिछले 50 दिन से चल रहे क्रमिक धरने को विराम 4 सितंबर को मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव के प्रस्तावित दौरे के दौरान बीना को जिला बनाए जाने की घोषणा के बाद लगेगा ।